इस्लामिक महीनों के नाम

islamic mahino ke name

इस्लामी कैलेंडर को हिजरी कैलेंडर के नाम से जाना जाता है। हिजरी कैलेंडर की शुरुवात लगभग 1440 साल पहले हुई थी। 622 ईसवी में इस्लामिक नव वर्ष यानी हिजरी …

पैगंबर मुहम्मद के 99 नाम

पैगंबर मुहम्मद के 99 नाम हिंदी में

पैगंबर मुहम्मद के 99 नाम हिंदी में مُحَمَّد ﷺ: अस्मा-ए-मुहम्मद (PBUH), हिन्दी अनुवाद और प्रत्येक नाम के अर्थ के साथ पवित्र पैगंबर मुहम्मद के 99 नामों का…

मौत हो जाने पर

maut ho jane per

मौत हो जाने पर: जब आदमी मरने लगे तो उसको चित लिटाकर उसके पैर किल्ले की तरफ कर दो और सर ऊँचा कर दो और उसके पास बैठकर ज़ोर-जोर से कलिमा तैयबा वगैरह पढ़ो…

ईमान

iman

ईमान: ईमान दिल से मानने और ज़बान से इकरार करने को ईमान कहते हैं। 1. ईमाने मुज्मल: आमन्तु बिल्लाहि कमा हु-व बिअस्मा-इही व सिफ़ातिही व क़बिल्तु जमीअ…

नमाज़ में की जाने वाली कुछ ग़लतियाँ

namaz me ki jane wali kuch galtiya

नमाज़ में की जाने वाली कुछ ग़लतियाँ: नमाज़ के तरीके का सही इल्म न होने के कारण हम से नमाज़ में विभिन्न प्रकार की ग़लतियाँ होती रहती हैं। जिनमें से कुछ…

शादी की रस्में

shadi ki rasme

शादी की रस्में: निकाह में जो चीजें फर्ज हैं, वे सिर्फ दो हैं- कम से कम दो गवाहों की मौजूदगी और ईजाब व कुबूल और निकाह का मस्तून तरीका यह है कि आम मज्मे में…

ज़कात सदका कुरबानी हज

sadka fitr or qurbani hujj

ज़कात​: जिस तरह नमाज़, रोज़ा औरतों पर फर्ज है, उसी तरह ज़कात भी फ़र्ज़ है। बहुत-सी औरतें ज़कात फर्ज होने के बावजूद, ज़कात अदा नहीं करतीं और गुनाहगार होती हैं।

छह कलिमा

six kalima

छह कलिमा: हर मुसलमान को छ: कलमे जरुर याद होने चाहिए। पहला कलमा तय्यब​: ला इला-ह इल्लल्लाहु मुहम्मदुर्रसूलुल्लाह तर्जुमाः अल्लाह के सिवा कोई इबादत के…

जुमा

juma ki namaz

जुमा के दिन जुह के चार फ़र्जी के बजाए नमाज़ जुमा दोगाना अदा किया जाता है। जुमा की नमाज़ सिर्फ़ बड़ी मस्जिद में ही अदा की जा सकती है। हर मस्जिद में जुमा…

मस्बूक

masbuq

मस्बूक़: एक या दो रक्अत के बाद जमाअत में शरीक होने वाला।​ जमाअत से नमाज़ पढ़ने के लिए आप मस्जिद में ऐसे वक़्त पहुंचे, जैसे अस्र की नमाज़ की एक या दो रक्अतें…

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